आगरा. साइबर फ्रॉड के निशाने पर इन दिनों रिटायर्ड पुलिसकर्मी हैं. साइबर ठग पेंशन भेजने के लिए ट्रेजरी कर्मचारी बनकर फोन करते हैं. रिटायर्ड पुलिसकर्मी से उनके बैंक से संबंधित जानकारी लेने के बाद उनके खाते से रुपये उड़ा लेते हैं. अलीगढ़ से रिटायर हुए एक एलआईयू कर्मी समेत 3 पुलिस वालों को सायबर ठगों ने अपना शिकार बनाया है. इस घटना को देखते हुए आईजी रेंज ने रिटायर्ड पुलिसकर्मियों के लिए एक गाइडलाइंस जारी कर दी है.
रेंज साइबर थाने अलीगढ़ में एक रिटायर्ड पुलिसकर्मी से साइबर ठगी का मामला सामने आया है. वह अक्टूबर में एल आई यू से रिटायर्ड हुए थे. पीड़ित नाहर सिंह ने बताया कि उनके फोन आया था. फोन करने वाला ने खुद को ट्रेजरी कर्मचारी बताया. उसने कहा कि पेंशन देने के लिए कुछ जानकारी चाहिए. नाहर सिंह साइबर ठग की बातों में फंस गए. सायबर ठग ने उनसे जो कुछ पूछा उन्होंने बता दिया. कुछ देर बाद उनके खाते से 96 हजार रुपये निकल गए. आईजी रेंज ए सतीश गणेश ने कहा कि इस मामले को गंभीरता से लेते हुए आगे की कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं.
मिली जानकारी के मुताबिक, सिद्धार्थनगर और सहारनपुर में भी इसी तरह की घटना सामने आई है. पुलिस साइबर सेल आरोपितों का पता लगा रही है. आईजी रेंज ने कहा कि सोशल मीडिया पर एक अभियान चलाया गया है, ताकि रिटायर्ड पुलिसकर्मियों को साइबर ठगी से सावधान किया जा सकें. आईजी रेंज ने बताया कि सभी पुलिस कप्तानों को पत्र लिख अपील की गई कि वे रिटायर होने वाले पुलिसकर्मियों को विदाई के समय साइबर ठगों से बचने की सलाह दें.
इन सावधानियों का रखें ध्यान 1. ट्रेजरी और बैंक आपको फोन करके बैंक से जुड़े प्राइवेट जानकारी नहीं मांगती हैं. 2. अगर कोई आपको फोन करके आपके मोबाइल पर आए पासवर्ड को शेयर करने की बात कहता है तो उसे शेयर नहीं करें. 3. अगर आपको ट्रेजरी से जुड़ी किसी भी तरह की जानकारी चाहिए तो आप खुद ट्रेजरी कार्यालय चले जाएं. वहां पर जाकर ट्रेजरी अधिकारी और बाबू से मिलें. 4. जिस भी बैंक एकाउंट में नेट बैंकिंग है, उसमें ज्यादा कैश नहीं रखें. 5. अपने खाते में पैसों को सेविंग प्लस मोड में रखें.
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